मेरी खामोशियों में भी फसाना ढूंढ लेती मेरी खामोशियों में भी फसाना ढूंढ लेती है ,
बड़ी शातिर है ये दुनिया बहाना ढूंढ लेती है,
हकीकत जिद किये बैठी है चकनाचूर करने को,
मगर हर आंख फिर सपना सुहाना ढूंढ लेती है !!
Wednesday, January 14, 2015
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